
फ़ॉक्सलेन न्यूज़। वित्तीय वर्ष 2024-25 में प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना के तहत निर्धारित लक्ष्य को समय पर पूरा करने को लेकर प्रशासन अब पूरी तरह गंभीर हो गया है। सरकार की ओर से तय किए गए 522 आवास निर्माण के लक्ष्य को हासिल करने के लिए प्रखंड स्तर पर लगातार समीक्षा बैठकों का आयोजन किया जा रहा है। इसी कड़ी में बीडीओ सूरज कुमार सिंह ने अपने कार्यालय में पंचायतवार प्रगति की समीक्षा बैठक की।
कार्य में लापरवाही पर दी गई सख्त चेतावनी
बैठक के दौरान बीडीओ ने देखा कि कुछ कर्मचारियों द्वारा कार्य में ढिलाई बरती जा रही है। इस पर उन्होंने नाराजगी जताई और कर्मचारियों को कड़ी चेतावनी देते हुए स्पष्ट किया कि अगर कार्य में कोताही पाई गई तो सख्त प्रशासनिक कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि सरकार की प्राथमिक योजना में शामिल इस योजना को समय पर पूरा करना सभी कर्मियों की सामूहिक जिम्मेदारी है।
23 अप्रैल से पहले पहली और दूसरी किस्त शत-प्रतिशत जारी करने के निर्देश
बैठक में बीडीओ सूरज कुमार सिंह ने सभी आवास सहायकों को निर्देशित किया कि 23 अप्रैल 2025 से पहले हर हाल में सभी चयनित लाभुकों को पहली और दूसरी किस्त शत-प्रतिशत जारी कर दी जाए. उन्होंने कहा कि अब कोई बहाना नहीं चलेगा और सभी प्रखंडकर्मी इसे प्राथमिकता के आधार पर निपटाएं इसके अलावा जिन लाभुकों को पहले से दूसरी किस्त दी जा चुकी है। उनमें से 90 प्रतिशत लाभुकों को तीसरी किस्त भी जारी की जाए। इस दिशा में भी ठोस कार्रवाई की जरूरत बताई गई है।
चार पंचायतों में विशेष ध्यान
बीडीओ ने समीक्षा के दौरान बताया कि योजना के लक्ष्य के अनुसार चार पंचायतों—कुकुरा, डुमरिया, सेमरी और बिनवलिया—में अभी कार्य अधूरा है. इन पंचायतों में कुल 60 लाभुकों को दूसरी किस्त जारी की जानी है। इसके लिए संबंधित कर्मियों को विशेष जिम्मेदारी सौंपी गई है।
इसके अलावा 108 लाभुक ऐसे हैं जिन्हें दूसरी किस्त दी जा चुकी है। अब इन सभी को जल्द से जल्द तीसरी किस्त जारी करने का निर्देश दिया गया है ताकि आवास निर्माण का कार्य तेजी से आगे बढ़ सके।
आवास पूर्णता प्रतिशत बढ़ाने पर भी जोर
बैठक में बीडीओ ने सिर्फ किस्तों के निर्गमन तक ही सीमित नहीं रहते हुए। आवासों की पूर्णता प्रतिशत बढ़ाने पर भी खास जोर दिया। उन्होंने कर्मियों को निर्देशित किया कि जिन लाभुकों को सभी किस्तें दी जा चुकी हैं। उनके आवासों का कार्य तुरंत पूरा कराया जाए।
इसके लिए स्थानीय स्तर पर निगरानी टीम को सक्रिय करने, लाभुकों से संपर्क बनाए रखने और निर्माण कार्य की प्रगति पर नजर रखने के आदेश दिए गए हैं।
समन्वय के साथ कार्य करना होगा
बैठक में बीडीओ सूरज कुमार सिंह ने कहा कि यह योजना सरकार की जनहितैषी पहल है और इसका समय पर पूरा होना जरूरी है। उन्होंने कहा कि सभी कर्मचारी आपसी समन्वय और सहयोग से कार्य करें ताकि किसी भी प्रकार की बाधा न आए।
उन्होंने यह भी कहा कि आवास निर्माण में देरी से न केवल सरकार की छवि प्रभावित होती है. बल्कि जरूरतमंद लाभुकों को भी परेशानियों का सामना करना पड़ता है। इसीलिए अब हर स्तर पर समयबद्ध और पारदर्शी कार्यप्रणाली को अपनाना होगा।
बैठक में उपस्थित रहे सभी संबंधित अधिकारी और कर्मचारी
समीक्षा बैठक में कई प्रमुख अधिकारी और आवास सहायक उपस्थित रहे. इनमें आवास पर्यवेक्षक नितेश कुमार, धीरज कुमार, कुमार शानू, परमा पासवान, तबरेज आलम, आशुतोष कुमार, आशीष कुमार, खुशबू कुमारी, पुनदेव यादव, सोनेलाल प्रसाद, राजीव रंजन, मुकेश कुमार और अविनाश कुमार जैसे कर्मचारी शामिल थे।
बीडीओ ने इन सभी को कार्य में पूरी ईमानदारी और समयबद्धता के साथ योगदान देने को कहा. साथ ही यह भी सुनिश्चित करने को कहा कि हर लाभुक को योजना का लाभ समय पर मिले
योजना के तहत मिलने वाली सहायता राशि
प्रधानमंत्री ग्रामीण आवास योजना के तहत लाभुकों को तीन किस्तों में कुल 1.20 लाख रुपये की सहायता राशि प्रदान की जाती है।
पहली किस्त आवास निर्माण शुरू करने पर दी जाती है।
दूसरी किस्त ढलाई या लेंटर लेवल पर पहुंचने पर दी जाती है।
तीसरी किस्त तब दी जाती है जब आवास निर्माण अंतिम चरण में पहुंचता है।
इस राशि का उपयोग लाभुक अपने पक्के मकान के निर्माण में करते हैं। योजना का उद्देश्य है कि ग्रामीण क्षेत्रों में हर गरीब परिवार को स्वस्थ, सुरक्षित और स्थायी आवास मिल सके।

